• ‘स्वधा’ – खादी का आरोग्य वस्त्र संकलन
दिल्लीः इस वर्ष 21 जून, 2022 को देश आठवां अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस मना रहा है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने ‘मानवता के लिये योग’ को इस वर्ष की विषयवस्तु घोषित की है, ताकि इस तथ्य की फिर से पुष्टि हो जाये कि कोविड-19 के दौरान योग ने बीमारी की पीड़ा हरने में मानवजाति की कितनी सेवा की थी। प्रधानमंत्री का दृढ़ विश्वास है कि कोविड-19 के भू-राजनीतिक संकट के दौरान करुणा और दया के माध्यम से योग लोगों को एक-दूसरे के करीब लाया तथा पूरी दुनिया में एकता की भावना को उसने बल दिया।
सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम मंत्रालय के अधीन खादी और ग्रामोद्योग आयोग ने राष्ट्रीय फैशन प्रौद्योगिकी संस्थान (निफ्ट) में खादी उत्कृष्टता केंद्र(सीओईके) की स्थापना की है। इसका उद्देश्य है खादी संस्थानों को डिजाइन तैयार करने में दक्ष बनाना, खादी उत्पादों का उत्पादन और भारतीय तथा विश्व बाजार में उन्नत किस्म के भांति-भांति के खादी उत्पादों को प्रस्तुत करना।
खादी उत्कृष्टता केंद्र ‘खादी भावना’ को ध्यान में रखते हुये इसे आगे बढ़ाने का काम कर रहा है। इसका सीधा-सादा अर्थ “पृथ्वी पर रहने वाले हर मानव के प्रति भाईचारे की भावना” है। योग का सार-तत्त्व संतुलन होता है, यानी केवल शरीर या मन और शरीर के बीच संतुलन नहीं, वरन विश्व में मानव सम्बंधों के बीच संतुलन भी इसमें सम्मिलित है।
योग के मूल विचार को केंद्र में रखते हुये, खादी उत्कृष्ट केंद्र की डिजाइन टीम ने ‘स्वधा’ नामक आरोग्य वस्त्रों की श्रृंखला तैयार की है, ताकि अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस पर खादी के बहुआयामी पक्षों को प्रदर्शित किया जा सके। अथर्ववेद में ‘स्वधा’ का अर्थ सहजता, सुविधा या आनन्द होता है। यह वास्तव में इस संकलन की विशेषता है।
संकलन को योगाभ्यासियों और योग का शौक रखने वालों को दिखाया गया है कि वे इनका उपयोग करके अपने विचार दें। इन वस्त्रों को इस तरह तैयार किया गया है कि ये कंधे पर ढीले हैं, ऊपरी वस्त्र के बीच का हिस्सा इस तरह बनाया गया है कि झुकने में आसानी होती है। पांव फैलाने में आसानी हो, इसलिये निचला हिस्सा भी ढीला-ढाला बनाया गया है। आरोग्य को ध्यान में रखते हुये ये खूबियां उल्लेखनीय हैं।
समाजसेवी, रैमन मैगसेसे पुरस्कार से सम्मानित और पुदुच्चेरी की पूर्व उप-राज्यपाल डॉ. किरण बेदी ने निफ्ट स्थित खादी उत्कृष्टता केंद्र का दौरा किया तथा वहां डिजाइनरों से बातचीत की। उन्होंने इस संकलन की प्रशंसा की। भारत के ‘प्लॉगमैन’ रिपु दमन बेवली ने स्वधा संकलन को चुना और खादी से बने इन वस्त्रों की सराहना की। उनके अनुसार योग या कसरत करते समय इन वस्त्रों से बहुत आराम मिलता है।आरोग्य वस्त्र संकलन ‘स्वधा’ श्रृंखला में मन की शक्ति और दृढ़ता पर बल दिया गया है। इसका लक्ष्य है कि सभी आयुवर्ग के लोगों को आकर्षित करना। इन आरोग्य वस्त्रों को हाथ से बुना गया है और प्राकृतिक रंगों का इस्तेमाल किया गया है। खादी की डोर पूरे विश्व के लोगों को एक-दूसरे से बांधती है और यह ‘वसुधैव कुटुम्बकम्’ की सच्ची भावना का प्रतीक है।