पटनाः बिहार के उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव ने संसद में एक व्यापारिक समूह को निशाना बनाने के लिए रिश्वत लेने के आरोप का सामना कर रही तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) की सांसद महुआ मोइत्रा का बचाव किया। तेजस्वी की पार्टी राष्ट्रीय जनता दल (राजद) का ‘इंडिया’ गठबंधन बनने से बहुत पहले से पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की टीएमसी के साथ संबंध है। उन्होंने मोइत्रा के खिलाफ आरोप लगाने वाले भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के सांसद निशिकांत दुबे पर भी हमला किया।
राजद नेता ने यहां संवाददाताओं से कहा, “महुआ मोइत्रा एक उच्च शिक्षित महिला हैं। राजनीतिक क्षेत्र में आने से पहले एक बैंकर के रूप में उनका शानदार करियर रहा। दूसरी ओर, जो उनके खिलाफ अनर्गल आरोप लगा रहे हैं, वह विभिन्न गलत कामों के लिए मीडिया में जाने जाते हैं, जिसमें फर्जी डिग्री भी शामिल है।” तेजस्वी का इशारा कई महीने पहले संसद के भीतर मोइत्रा द्वारा दुबे के खिलाफ लगाए गए आरोपों की ओर था, जिसमें कहा गया था कि भाजपा सांसद ने अपने चुनावी हलफनामे में एमबीए और पीएचडी की डिग्री होने का झूठा दावा किया था। मोइत्रा ने इस आधार पर दुबे की लोकसभा सदस्यता समाप्त करने की भी मांग की थी।
तेजस्वी ने आरोप लगाया, “महुआ मोइत्रा संसद में जो मुद्दे उठा रही हैं, उन्होंने सत्तारूढ़ पक्ष (केंद्र को) को बैचेन कर दिया है इसलिए, वे उनसे बदला लेने की कोशिश कर रहे हैं।” मोइत्रा ने अडानी समूह और उसके भाजपा के साथ “संबंध” पर कई आरोप लगाए हैं। प्रदेश में विपक्षी भाजपा की ओर से जाति आधारित गणना में विसंगति के आरोप लगाने के बारे में पूछे जाने पर तेजस्वी ने कहा, “डेटा वैज्ञानिक तरीके से एकत्र किया गया है। अगर भाजपा ऐसा मानती है, तो मैंने हमेशा कहा है कि वह केंद्र से जाति जनगणना कराने के लिए कहने के लिए स्वतंत्र हैं। सच तो यह है कि भाजपा और प्रधानमंत्री (नरेन्द्र) मोदी जातियों की संख्या को लेकर चिंतित हैं। इसलिए, वे व्यर्थ की आपत्तियां उठा रहे हैं।” बिहार में जाति सर्वेक्षण के निष्कर्ष इस महीने की शुरुआत में जारी किए गए थे। उससे पता चला है कि अन्य पिछड़ा वर्ग और अत्यंत पिछड़ा वर्ग राज्य की कुल आबादी में 63 प्रतिशत है, जबकि हिंदू उच्च जातियां 10 प्रतिशत से थोड़ी अधिक हैं।
बिहार के सत्तारूढ़ महागठबंधन के घटक दलों के बीच आगामी लोकसभा चुनाव को लेकर सीट बंटवारे के बारे में पूछे गए एक सवाल का जवाब देते हुए, तेजस्वी ने कहा, “कोई समस्या नहीं होगी। 2015 के बिहार विधानसभा चुनाव के दौरान गठबंधन में सब कुछ सहज था जब हमें 243 सीटों के बारे में फैसला करना था। लोकसभा चुनाव में तो केवल 40 सीटें हैं।” नौकरियों के बदले जमीन घोटाले में राजद सुप्रीमो और उनके पिता लालू प्रसाद की जमानत रद्द करने की मांग वाली सीबीआई याचिका के बारे में पूछे जाने पर तेजस्वी ने कहा, “हम अदालत के समक्ष अपनी बात रखेंगे। लेकिन सीबीआई बिना किसी वैध आधार पर जमानत रद्द करवाना चाहती है। इसने कुछ साल पहले मेरे मामले में भी ऐसा ही करने की कोशिश की थी।”