खरमास बाद इंडी गठबंधन में लगेगा सियासी ग्रहणः मंगल पांडेय

देश

इंडिया ब्लॉक के पास नेता, नीयत और नीति की घोर कमी

पटना। पूर्व स्वास्थ्य मंत्री श्री मंगल पांडेय ने कहा है कि खरमास बाद इंडी गठबंधन में सियासी ग्रहण लगना तय है। सीट बंटवारे को लेकर कांग्रेस के ढुलमुल रवैये से इंडी गठबंधन में तकरार शुरू हो गया है और कांग्रेस से जल्द से जल्द सीट बंटवारे पर दबाव देने लगे हैं। इंडी गठबंधन मंे शामिल दल जहां सीट शेयरिंग को लेकर कांग्रेस की ओर टकटकी लगाये हुए हैं, तो वहीं कांग्रेस 14 जनवरी के बाद सीट बंटवारे पर कुछ भी फैसला लेने पर अडिग है। कांग्रेेेेेेेेेस के इस रवैये से बिहार सहित अन्य राज्यों में स्थिति स्पष्ट नहीं हो पायी है, लेकिन इतना तय है कि कांग्रेस अगर अपनी बात पर अडिग रही, तो खरमास बाद इंडिया ब्लॉक पूरी तरह लॉक हो जायेगा और इसमें शामिल दलांे की राहें एक बार फिर जुदा होंगे।
 
श्री पांडेय ने कहा कि बिहार में इसे लेकर अंदर ही अंदर पटकथा लिखी जाने लगी है। सीट शेयरिंग में हो रही देरी के कारण इंडी गठबंधन में शामिल दलांे के नेता अब खुलकर कांग्रेस के खिलाफ मुखर हो गये हैं और किसी भी कीमत पर 14 जनवरी के पहले सीट शेयरिंग पर विचार करने की बात कांग्रेस से कह रहे हैं, ताकि समय पूर्व तय सीटों पर अपने उम्मीदवारों का चयन कर सके। वहीं शनिवार को कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्ल्किार्जुन खड़गे ने कहा कि जल्द ही बैठक कर सीट शेयरिंग और किसके पास कौन पद रहेगा इस पर फैसला होगा, लेकिन तारीख की घोषणा नहीं कर सके। इधर जदयू ने तो खुलकर कांग्रेस को आईना दिखाना शुरू कर दिया है और यहां तक कहा कि सीट शेयरिंग के साथ-साथ माननीय मुख्यमंत्री श्री नीतीश कुमार को संयोजक की जगह प्रधानमंत्री का उम्मीदवार घोषित किया जाय। जदयू के कई मंत्रियों और नेताओं ने बयान जारी कर अपनी बातों से कांग्रेस को अवगत करा दिया है, लेकिन इंडी गठबंधन में शामिल पार्टियां अपने-अपने राज्य में नफा-नुकसान के हिसाब से प्रधानमंत्री पद के लिए नामों पर सहमति जताना चाहती है।
 
श्री पांडेय ने कहा कि इंडी गठबंधन अभी तक न तो सीटों का शेयरिंग कर सका है और न ही प्रधानमंत्री पद के लिए योग्य उम्मीदवार ढूंढ सका है। इससे यही पता चलता है कि इंडी गठबंधन लोस चुनाव से पूर्व ही तास के पत्तों की तरह बिखर जायेगी। स्वार्थ के लिए बना इंडिया ब्लॉक के पास नेता, नीयत और नीति की घोर कमी है। एनडीए में सभी चीजें स्पष्ट है और तय समय पर सारी तैयारियां भी हो रही हैं। इसलिए 2024 में स्वार्थी नेताओं की पराजय तय है और आदरणीय प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में एक बार फिर एनडीए की सरकार बननी पक्की है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *